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08 December 2023
74वें आलमी तब्लीगी इज्तिमा आगाज, लाखो जमातें शामिल
भोपाल: राजधानी में 4 दिवसीय आलमी तब्लीगी इज्तिमा का शुक्रवार को आगाज हुआ. इसमें दुनियाभर से जमातें आई हैं. इस समागम में देश दुनिया से लाखों जमातें और अकीकतमंद यहां आते हैं. यहां उलेमाओं की तकरीरें होती हैं. आखिरी दिन अमन चैन की दुआ के साथ इसका समापन होता है. यह 74वां आलमी तब्लीगी इज्तिमा है.
उत्तर प्रदेश से आए मौलाना जमशेद ने अल सुबह 6 बजे नमाज अदा करायी और इसी के साथ 2023 का इज्तिमा शुरू हो गया. इस बार इसमें देश दुनिया से 10 लाख ज़ायरीन के आने का अनुमान है. भोपाल के ईंटखेड़ी स्थित घासीपुरा में इसके इंतजाम भी बेशुमार हैं. यहां भोजन-पानी से लेकर रोजमर्रा के वो सारे इंतजाम किए गए हैं जिसकी जरूरत इंसान को होती है. इस साल 3000 पुलिस और ट्रैफिक पुलिस जवान यहां तैनात किए गए हैं. इनके साथ 20 हजार वॉलिंटियर तैनात रहेंगे. कुल 450 एकड़ में फैले इज्तिमा सिटी में 200 एकड़ में 4 ब्लॉक बनाए गए हैं. इज्तिमा में पाकिस्तान को छोडक़र अमेरिका, इंडोनेशिया, मलेशिया, बांग्लादेश, साउथ अफ्रीका, जार्डन, अफगानिस्तान, कनाडा सहित अन्य देशों की जमातें शामिल होंगी.
पहले दिन शुक्रवार को जमातों को संबोधित करते हुए मौलाना जमशेद ने कहा, जो तुम पर ज्यादती करे उसे माफ कर दें, यह कड़वा घूंट जरूर है, मगर यह ईमान वाले लोगों की पहचान भी है. इसलिए माफ करने वाला इंसान बनें. अपनी तकरीर में दीन और हक के रास्ते पर चलने की बात की. आलमी तब्लीगी इज्तिमा अब सिर्फ मज़हबी नहीं, पृथ्वी को बचाने का संदेश दे रहे है. जलवायु परिवर्तन और ग्लोबल वॉर्मिंग से जूझ रही दुनिया को यहां से सामाजिक संदेश भी दिए जा रहे हैं. इस बार इज्तिमा की थीम ग्रीन-क्लीन डस्ट और पॉलिथिन फ्री रखी गयी है. पूरे इज्तिमा परिसर में पॉलिथिन का प्रयोग प्रतिबंधित है.
बेगमों का भोपाल-नवाबी परंपरा का शहर है. यहां की रवायत यहां की विरासत सबसे अलहदा. गंगा-जमुनी तहज़ीब का शहर है. इस शहर के कई किस्से-कहानियां-कई पहचान और शान हैं. इन्हीं में से एक है यहां होने वाला मुस्लिम समाज का आलमी तबल़ीगी इज्तिमा. आलमी तब्लीगी इज्तिमा मुस्लिम समाज का सबसे बड़ा धार्मिक आयोजन है. ये सिर्फ भोपाल ही नहीं, बल्कि एशिया और दुनिया के सबसे बड़े इस्लामी धार्मिक आयोजनों में से एक है.